करिश्मा अजीज पर भड़काऊ वीडियो का नेटवर्क संचालित करने का आरोप, बिहार और उत्तराखंड में दो FIR दर्ज

मुजफ्फरपुर। सोशल मीडिया पर भ्रामक और सांप्रदायिक तनाव बढ़ाने वाले वीडियो व पोस्ट डालने के आरोप में मुजफ्फरपुर की करिश्मा अजीज पर बिहार और उत्तराखंड—दोनों राज्यों में आईटी एक्ट सहित कई गंभीर धाराओं में मामला दर्ज किया गया है। पुलिस जांच में सामने आया है कि करिश्मा का डिजिटल ऑपरेशन सिर्फ एक अकाउंट तक सीमित नहीं है, बल्कि यह एक संगठित नेटवर्क की तरह काम करता है, जिसके जरिए लगातार विवादित सामग्री प्रसारित की जा रही है।

8 महीने पुराना अकाउंट, लेकिन करोड़ों की रीच

करिश्मा अजीज का मुख्य एक्स (पूर्व ट्विटर) अकाउंट अप्रैल 2025 में बनाया गया था और मई 2025 में प्लेटफॉर्म द्वारा वेरिफाई भी कर दिया गया। वर्तमान में उसके 19.3 हजार से अधिक फॉलोवर हैं और प्रत्येक वीडियो पर औसतन 50,000 से ज्यादा व्यूज मिल रहे हैं। पड़ताल में यह भी सामने आया कि इसी नाम से जुड़े 7–8 अतिरिक्त बैकअप अकाउंट भी सक्रिय हैं, जिनके जरिए विवादित कंटेंट लगातार फैलाया जा रहा है।

अकाउंट की बायो में वह स्वयं को Accidental Journalist, Truth Seeker और Equality Advocate बताती है, जबकि पुलिस के अनुसार उसकी कई पोस्ट तथ्यहीन और भड़काऊ पाई गई हैं।

उत्तराखंड में पहला मामला: धराली आपदा पर अभद्र टिप्पणी

उत्तरकाशी के धराली में प्राकृतिक आपदा के बाद शोक की स्थिति थी, इसी बीच कुछ अकाउंट्स ने जवानों की मौत और नागरिकों की त्रासदी पर भड़काऊ टिप्पणियां पोस्ट कीं। देहरादून के हिंदू संगठनों ने इन्हें सांप्रदायिक तनाव भड़काने वाला बताते हुए करिश्मा अजीज सहित तीन लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई। आरोप है कि इन पोस्ट्स के जरिए जानबूझकर माहौल बिगाड़ने की कोशिश की गई।

बिहार में दूसरा मामला: नेपाल के हिंसक प्रदर्शन को बिहार का बताकर वायरल किया वीडियो

बिहार चुनाव के बीच मुजफ्फरपुर साइबर थाने को एक वायरल वीडियो की जांच का इनपुट मिला। करिश्मा अजीज द्वारा पोस्ट किए गए इस वीडियो में दावा किया गया था कि बिहार में युवा हिंसक प्रदर्शन कर रहे हैं। जांच में सामने आया कि वीडियो वास्तव में नेपाल के ‘‘जेन-जी’’ जैसे हिंसक प्रदर्शनों का फुटेज था, जिसे भ्रामक तरीके से बिहार का बताया गया। इसके बाद मुजफ्फरपुर साइबर पुलिस ने करिश्मा के खिलाफ दूसरा केस दर्ज किया।

VPN और प्रॉक्सी से ट्रेसिंग में दिक्कत, मेटा–एक्स को भेजा गया अनुरोध

जांच में पुलिस को पता चला है कि करिश्मा अजीज लगातार VPN और प्रॉक्सी सर्वर का इस्तेमाल करती है, जिससे लोकेशन बार-बार बदल जाती है और ट्रेसिंग असफल हो जाती है। अलग-अलग अकाउंट्स में अलग मोबाइल नंबर और ईमेल आईडी का उपयोग किया गया है।

साइबर डीएसपी हिमांशु कुमार ने बताया कि
“करिश्मा के अकाउंट और उससे जुड़े सभी डेटा को लेकर मेटा व एक्स प्लेटफॉर्म को मेल भेजा गया है। प्रारंभिक इनपुट में पता चला है कि युवती मुजफ्फरपुर शहर की ही रहने वाली है। कंपनियों से डेटा मिलते ही आगे की कार्रवाई तेज की जाएगी।”

पुलिस अलर्ट, सोशल मीडिया पर निगरानी बढ़ाई

लगातार विवादित पोस्ट के बावजूद अकाउंट सक्रिय रहने से साइबर सेल ने निगरानी बढ़ा दी है। पुलिस का कहना है कि करिश्मा अजीज का पूरा डिजिटल नेटवर्क उजागर करने के लिए तकनीकी टीम लगी हुई है।

दो राज्यों में दर्ज मामलों के बाद भी अकाउंट से भ्रामक और भड़काऊ वीडियो पोस्ट होने से जांच एजेंसियों की चिंता और बढ़ गई है। इधर सोशल मीडिया पर करिश्मा अजीज के गिरफ्तार होने की खबर वायरल हो रही थी जिसका खंडन खुद करिश्मा अजीज ने किया।

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