
शशि मिश्रा

गणेश चतुर्थी के दिन बिल्हा थाना क्षेत्र के रेलवे लाइन पार वार्ड क्रमांक 12 स्थित उड़िया पारा में एक महिला द्वारा गऊ काटे जाने का वीडियो वायरल होने के बाद हंगामा मच गया। बताया जा रहा है कि इसका विरोध करने स्थानीय युवक मौके पर पहुंचे थे जिसके साथ आरोपी महिला सुक्रांति कुर्रे के परिजनों ने मारपीट करते हुए उन्हें घायल कर दिया। जब इसकी सूचना बिलासपुर पहुंची तो यहां से बड़ी संख्या में गौ सेवक और हिंदूवादी युवक मौके पर पहुंचे और आरोपी महिला के खिलाफ कार्यवाही की मांग करने लगे।

इन लोगों ने आरोप लगाया की मौके पर पुलिस तो पहुंच गई लेकिन वह आरोपियों के बचाव में नजर आयी। भीड़ ने पुलिस पर महिलाओं को संरक्षण देने का भी आरोप लगाया, साथ ही कहा कि पुलिस कह रही है कि महिला मरे हुए गाय को काट रही है जबकि स्थानीय लोगों का दावा है कि उस महिला ने दो बछड़ों को काटा है और यह महिला काफी लंबे समय से गौ मांस विक्रय में संलिप्त है जिसका पूरा परिवार उसे सहयोग करता है।

एक तरफ गौ सेवक महिला और उसके परिवार पर कार्यवाही की मांग करते रहे और दूसरी ओर कथित तौर पर पुलिस मामले को टालती रही जिस कारण से यहां हंगामे की स्थिति देखी गई। बाद में पुलिस आरोपी महिला को लेकर थाने पहुंची लेकिन भीड़ मौके से हटाने का नाम नहीं ले रही थी। इसी बीच जब पुलिस ने हिंदूवादी नेता ठाकुर राम सिंह को अपनी गाड़ी में बैठा लिया तो फिर भीड़ आपा खो बैठी और उग्र होने लगी, इसके बाद ठाकुर राम सिंह को छोड़ दिया गया।

ठाकुर राम सिंह ने बताया कि आरोपी महिला पर गौ मांस विक्रय का आरोप लंबे समय से लगता रहा है और बिना पुलिस संरक्षण के इस तरह से खुलेआम उसका कार्य करना संभव नहीं। महिला का वीडियो वायरल होने के बावजूद पुलिस मामले में हिल हवाला कर रही है। ठाकुर राम सिंह ने ऐसे तत्वों को क्षेत्र से खदेड़ने की भी मांग की है। इधर पुलिस ने फोरेंसिक जांच के बाद कार्रवाई की बात कही है। कुल मिलाकर गणेश चतुर्थी के दिन गौ मांस बिक्री और महिला द्वारा गाय को काटे जाने की खबर से हंगामा मच गया।


