ज़िला कांग्रेस कमेटी ( शहर/ग्रामीण ) ने 30 जनवरी को गांधी प्रतिमा पर राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के शहादत दिवस मनाई ,और उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि दी । राहुल गांधी जी के भारत जोड़ो यात्रा के समापन दिवस के अवसर पर शहर अध्यक्ष विजय पांडेय ने ध्वजारोहण किया और राज्य गीत के साथ सलामी दी गई ।
इस अवसर पर शहर अध्यक्ष विजय पांडेय ने कहा कि देश की आज़ादी के लिए 1857 से लड़ाई लड़ी जा रही थी ,किन्तु एकता और विचारों की भिन्नता ने आंदोलन को वह मुकाम दिलाने में असफल रहा ,1914 में गांधी जी का आगमन आज़ादी के आंदोलन के लिए नया सबेरा लेकर आया,गांधी जी ने वैचारिक मतान्तर को एक सूत्र में पिरोया और अंग्रेजो के विरोध एक योजना बद्ध आंदोलन प्रारम्भ किये, जिसके अस्त्र थे सविनय अवज्ञा ,सत्य,अहिंसा ।


गांधी जी ने समाज के हर वर्ग के सहभागिता के लिये अनेक प्रोग्राम चलाया जिससे देश के अंदर अंग्रेजो के विरुद्ध एक विशाल जन सैलाब उमड़ पड़ा ,इसके बाद भी देश के अंदर कुछ गद्दार थे जिन्होंने अंग्रेजो से जासूसी और आंदोलन के विरोध करने के लिए अंग्रेजो के वैतनिक गुलाम थे ,फिर देश 1947 को आज़ाद हुआ पर इस आज़ादी को जो लोग आत्मसात नही कर सके वे तिरंगा को पैरों तले कुचला इससे भी मन नही भरा तो गांधी जी की हत्या कर दी , विज पांडेय ने कहा आतताइयों ने गांधी के शरीर की हत्या की पर गांधीजी अपने विचारो से ,सिद्धांतो से आज भी जिंदा है ।
शहर विधायक शैलेष पांडेय ने कहा कि गांधी के भारत को बचाने के लिए राहुल गांधी जी दूसरा गांधी है जिन्होंने 3500 किलोमीटर की भारत जोड़ो यात्रा कर रहै है ,जिसका आज श्रीनगर में समापन होने जा रहा है ,गांधी शब्द इस भारत भूमि का पर्याय बन गया है जहां महात्मा गांधी ने देश को आज़ादी दिलाई और एक आंतरिक आतंकवादी के हाथों मारे गए वही देश को मजबूत राष्ट्र के रूप में स्थापित करने वाले पूर्व प्रधानमंत्री श्रीमती इंदिरा गांधी और राजीव गांधी ने इस देश के लिए अपनी शहादत दी ।


शैलेश पांडेय ने कहा कि राहुल गांधी जी को इतनी लम्बी यात्रा क्यो करनी पड़ी ? ,आज हर भारतीय के मन मे यह जिज्ञाषा भरा प्रश्न स्वाभाविक रूप में उठ रहा है । इसका एक ही जवाब है हमने इन आठ वर्षों में वह अर्थ,वह धर्म और वह सामाजिक एकता को तार तार होते देखा है ,जिसका सीधा असर देश की एकता और अखंडता पर परिलक्षित होने लगा है, देश की जनता जान रही थी और समझ भी रही थी किन्तु असहाय मूक दर्शक बनी रही ,इनकी भावनाओ को राहुल जी ने समझा और देश के अंदर विश्वास कायम करने के लिए निकल पड़े ,राहुल गांधी जी के साथ चलता जन सैलाब इस बात का गवाह है कि कुछ भी हो जाये देश की एकता और अखंडता को खंडित करने वाले कभी माफ नही किये जा सकते ,भारत जोड़ो यात्रा में समाज के हर वर्ग जुड़ा और अपना समर्थन दिया,जो भारत जोड़ो यात्रा की अहमियत और आवश्यकता को बयां करता है।


शहर अध्यक्ष विजय पांडेय, शहर विधायक शैलेष पांडेय, अरपा बेसिन प्राधिकरण उपाध्यक्ष अभय नारायण राय,छः ग योग आयोग सदस्य रविन्द्र सिंह, हरीश तिवारी, ज़फ़र अली,एसएल रात्रे, विनोद शर्मा, त्रिभुवन कश्यप, माधव ओत्तलवार,राकेश शर्मा,शिवा मिश्रा, प्रवक्ता ऋषि पांडेय, बद्री जायसवाल,सीमा घृटेश, अरविंद शुक्ला,विनोद साहू, मोती ठारवानी,शहज़ादी कुरैशी,स्वर्णा शुक्ला, प्रियंका यादव,आशा पांडेय, शेख असलम,राजेश जायसवाल, शैलेन्द्र जायसवाल,काशी रात्रे, सुभाष ठाकुर,सावित्री सोनी,उतरा सक्सेना,वीरेंद्र सारथी,अखिलेश बाजपाई,राम दुलारे रजक,अर्जुन सिंह,चन्द्रहास केशरवानी,अनिल पांडेय,रंजीत खनूजा,रिंकू छाबड़ा,राजेश ताम्रकार,दिनेश सूर्यवंशी,कमल गुप्ता, शुभ लक्ष्मी,मार्गेट बेंजामिन,अमीन मुगल,हेरि डेनिएल,लल्ला सोनी,अयूब मोह,गणेश रजक,अतहर खान,शाहिद खान,राकेश केसरी,राजेश यादव,राजेश शर्मा,जगदीश सोनी,लक्ष्मी जांगड़े,ब्रजेश साहू,राजीव गुप्ता,रेखेन्द्र तिवारी,अमृत आनन्द,उमेश वर्मा आदि उपस्थित थे ।

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