धार्मिक नगरी रतनपुर के जागृत मंदिरों की श्रृंखला में दक्षिण मुखी श्री गिरजाबंद हनुमान जी का विलक्षण मंदिर है जहां
प्रतिवर्ष की भांति इस वर्ष भी चैत्र पूर्णिमा को हनुमान जयंती का महापर्व बड़ी ही श्रद्धा भक्ति के साथ मनाया गया, जहां बड़ी संख्या में श्रद्धालु भाग लिए।
मारुतिनंदन हनुमान जी रतनपुर की पावन धरा के कोने-कोने में विराजमान हैं और इस प्रकार हनुमान जी रतनपुर को अपने चारों ओर से एक रक्षा कवच से घेरे हुए है ताकि इस चतुर्युगी नगरी में कहीं कोई अनिष्ट न हो और न ही कोई प्रतिकूलता आने पाए, जहां प्रतिवर्ष चैत्र पूर्णिमा को गिरजाबंद हनुमान मंदिर में हुनमान जन्मोत्सव का महा पर्व बड़ी ही श्रद्धा भक्ति के साथ मनाया जा रहा है जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालु भाग ले रहे हैं।हनुमान जी की यह मंदिर अति प्राचीन व अत्यंत महिमा मंडित,अपितु सिद्धि दायक भी हैं इन्ही मंदिरों में से विराजित श्री विग्रह अनवरत साधना,आराधना,उपासना के परिणाम स्वरूप आज भी जागृत है तथा साधारण भक्ति व साधना से ही प्रसन्न होकर भक्तों की हर मनोकामना पूर्ण करते हैं।
रतनपुर के इन जागृत मंदिरों की श्रृंखला में दक्षिण मुखी गिरजाबंद हनुमान मंदिर का यह विलक्षण मंदिर है जहां भगवान श्रीराम के अनन्य भक्त श्री हनुमान लला का अनुपम विग्रह विराजित है जहां आज हनुमान जयंती के अवसर पर दीप प्रज्वलन के साथ हनुमानजी की विशेष पूजा आराधना सुबह से ही अनवरत जारी है, जहां भक्तों के द्वारा सामूहिक रूप से सुंदरकांड का पाठ के बाद हवन कुंड में भक्तों द्वारा आहुति दी गई उसके बाद भोग भंडारे का आयोजन किया गया, इसके बाद भरी दुपहरी में बाजे-गाजे के साथ भक्तों की टोली भगवान श्रीराम जी की जयघोष करते हुए यहां पहुंचे ततपश्चात विशाल शोभायात्रा का भी आयोजन किया गया है जिससे आज पूरा नगर भक्ति में सराबोर देखने को मिला।