प्रवीर भट्टाचार्य
सरकंडा सुभाष चौक स्थित श्री पीतांबरा पीठ की महिमा दिन दूनी रात चौगुनी गति से बढ़ रही है। यहां नवरात्रि की महानवमी और श्री राम नवमी की पुण्यतिथि पर नवनिर्मित मंदिर में प्रभु श्रीराम के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा संपन्न हुई। इस दिव्य मंदिर के भूतल पर 108 किलो वजनी पारद शिवलिंग स्थापित है। इसी मंदिर के शीर्ष तल पर प्रभु श्री राम का मंदिर निर्मित किया गया है, जबकि मध्य भाग में मां बगलामुखी स्थापित है। एक ही परिसर में राम, रामेश्वर और शक्ति की मौजूदगी इस मंदिर को दिव्य बना रही है। गुरुवार को श्री राम नवमी के शुभ अवसर पर देश भर से पहुंचे संतों की उपस्थिति में यहां प्रभु श्री राम की प्रतिमा की प्राण प्रतिष्ठा की गई। सुबह श्रीमद् देवी भागवत कथा संपन्न होने तत्पश्चात यहां भगवान मर्यादा पुरुषोत्तम श्री राम के विग्रह की स्थापना और प्राण प्रतिष्ठा की गई। दोपहर को रूद्र चंडी यज्ञ की पूर्णाहुति हुई। महा नवमी तिथि पर देवी स्वरूप कन्याओं का पूजन कर उन्हें भोजन कराया गया। कन्या भोज में बड़ी संख्या में शामिल बालिकाओं का पूजन यजमानो द्वारा किया गया।
इस अवसर पर यहां श्री निर्वाण पीठाधीश्वर स्वामी विशोकानंद भारती जी महाराज , महामंडलेश्वर स्वामी धर्मदेव जी महाराज, महामंडलेश्वर स्वामी जितेंद्र आनंद सरस्वती जी महाराज, महामंडलेश्वर राधे राधे बाबा जी, परम पूज्य श्री सच्चिदानंद सरस्वती, आचार्य श्री सुभेष शर्मन आदि ने संत सम्मेलन में सारगर्भित बात कही । संतो ने अयोध्या में पूर्णता की ओर अग्रसर श्री राम लला मंदिर निर्माण के प्रति आनंद व्यक्त किया तो वही मजबूती से कहा कि भारत हिंदू राष्ट्र था, है और सदैव रहेगा। इस पुण्य अवसर पर बड़ी संख्या में श्रद्धालु श्री पितांबरा पीठ पहुंचे थे , जहां वे विभिन्न अनुष्ठानों में सम्मिलित हुए।