प्रेम संबंधों के चलते पनपी रंजिश की वजह से तीन रिश्तेदार युवकों ने मिलकर की थी युवक की हत्या, सरकंडा पुलिस गुमशुदा मानकर करती रही तलाशऔर मिली चैतुरगढ़ में युवक की लाश

प्रवीर भट्टाचार्य

सरकंडा पुलिस जिस युवक को गुमशुदा मानकर उसे तलाश कर रही थी, उसे तो पुरानी रंजिश और प्रेम संबंध के कारण कब के मौत के घाट उतार दिया गया था। 23 मार्च को सरकंडा थाने में परसाही निवासी 36 वर्षीय महेंद्ल पटेल की गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज कराई गई थी। सरकंडा पुलिस सोशल मीडिया के माध्यम से उसकी तलाश कर रही थी। अगले दिन महेंदल की मोटरसाइकिल लगरा नदी में डूबी मिली थी।  पुलिस मानकर चल रही थी कि महेंदल के साथ कुछ अनहोनी घटी है। इस मामले में पुलिस पूरी तरह साइबर सेल पर निर्भर थी। पुलिस को सीडीआर हाथ लगते ही आरोपी शिकंजे में फंसते चले गए। आरोपियों ने घटना की रात को ही फोन कर महेंदल को लगरा में बुलाया था। महेंदल अपनी मोटरसाइकिल में वहां पहुंचा तो वही मौजूद तीन लोगों ने उसके सर पर रॉड मारकर उसकी जान ले ली। इसके बाद आरोपी अपनी क्रेटा कार में उसकी डेड बॉडी डालकर चैतुरगढ़ पाली लेकर गए, जहां जंगल में उसके शव को फेंक कर उस पर पेट्रोल डाल उसमें आग लगा दी।  रात हो जाने की वजह से हत्यारों को यह ठीक से नहीं दिखा कि मृतक की बॉडी ठीक से नहीं जल पाई है । घटना घटनास्थल पर ही हत्यारों ने शराब पी और फिर अपने घर लौट गए। आरोपी निश्चिंत थे कि पुलिस उन तक नहीं पहुंच पाएगी, लेकिन उनकी यह सोच गलत साबित हुई। मोबाइल सीडीआर के जरिए पुलिस उन तक पहुंच ही गयी।  पुलिस ने उनसे अलग अलग सवाल जवाब किया। आरोपियों के जवाब में अंतर दिखा। घटना के वक्त सभी अपना अलग-अलग लोकेशन बता रहे थे, जबकि वे साथ थे। पुलिस पूछताछ में आखिरकार राहुल टूट गया और उसने महत्वपूर्ण जानकारी दी।  पता चला कि जब मृतक को आरटीओ ऑफिस के पास लगरा में बुलाया गया था तो जैसे ही वह अपनी बाइक से पहुंचा वहां मौजूद रामकुमार, चंदू और उसके साथी ने अपने पास रखे लोहे की रॉड से सर पेट और शरीर के अन्य हिस्सों पर ताबड़तोड़ हमले किये, जिससे महेंदल नीचे गिर गया और उसकी मौके पर मौत हो गई। आरोपियों ने उसकी बाइक लगरा नदी में डाल दी और फिर उसकी बॉडी कार में ले जाकर लाफ़ा जंगल में पेट्रोल से जला दिया। जिस वक्त महेंदल पटेल के गुम इंसान की रिपोर्ट लिखाई गई थी तब तक उसकी हत्या हो चुकी थी और हत्यारों ने उसकी लाश को भी ठिकाने लगा दिया था। पुलिस लगरा नदी में ही उसकी बॉडी तलाश रही थी लेकिन उसकी बॉडी चैतुरगढ़ के पास जंगल में मिली। इस मामले में पुलिस ने चंदू पटेल उर्फ चंद्र कुमार निवासी कर्रा मस्तूरी, रामकुमार पटेल निवासी परशाही और राहुल पटेल निवासी डरभाता सीपत को गिरफ्तार किया है। यह सभी हत्यारे आपस में रिश्तेदार है । पुलिस ने चैतुरगढ़ लाफा के जंगल से शव भी बरामद कर लिया है। पता चला कि पुरानी दुश्मनी खासकर प्रेम संबंध के चलते इनके बीच पनपी दुश्मनी की वजह से ही यह जघन्य हत्या की गई। लेकिन पुलिस ने एक ही दिन में अंधे कत्ल की गुत्थी को सुलझा कर सजगता का परिचय दिया।

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