बिलासपुर में सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा के अनादर का एक और वीडियो आया सामने, इन मामलों से शहर भर में दिख रहा आक्रोश का उबाल, लोगों ने सोशल मीडिया पर भी किया भड़ास जाहिर

आकाश दत्त मिश्रा

नया वीडियो आया सामने

बिलासपुर में नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा के अनादर से राष्ट्र वादियों और देशभक्तों में जबरदस्त आक्रोश है। यह मामला अभी शांत हुआ भी नहीं था कि ऐसा ही एक और वीडियो सामने आया है, जिसमें एक युवक नेताजी सुभाष चंद्र बोस के होठों पर सुलगा हुआ सिगरेट रखकर उनका अपमान करता नजर आ रहा है। और इस बार तो यह हरकत दिनदहाड़े की जा रही है।

कथित नाबालिक ने किया प्रतिमा का अनादर


हीरे की परख जोहरी को होती है । नासमझ के लिए तो वह कांच का टुकड़ा है। कोई नशेड़ी भला क्या जाने कि देश की आजादी के लिए सुभाष चंद्र बोस का योगदान क्या है ? इसके लिए घर में संस्कार और स्कूल कॉलेज में शिक्षा की जरूरत होती है। जिनके लिए नशा करना, गुंडा बनना ही आदर्शों हो, उनका आचरण भी ऐसा ही तो होगा।
बिलासपुर में महापुरुषों की प्रतिमाएं असुरक्षित होने का खामियाजा सामने आने लगा है। एक तरफ बिलासपुर में निजात अभियान के तहत नशे और नशेडियों के ऊपर नियंत्रण किया जा रहा है। चप्पे-चप्पे पर पुलिस नशेड़ियों की जांच कर रही है लेकिन उनकी आंखों में धूल झोंक कर इस घटना को अंजाम दे दिया गया। नूतन चौक मुस्कान भवन के पास रहने वाले कथित रूप से नाबालिग युवक ने सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा का अपमान किया। ऐसा ही एक और वीडियो सामने आया है। इस वीडियो में तो युवक दिनदहाड़े ऐसी ही हरकत करता नजर आ रहा है।

विरोध दर्ज कराने पहुंचा बंगाली समाज

पहले वाले मामले में पुलिस ने नाबालिग को हिरासत में ले लिया है। लोगों का गुस्सा शांत कराने नाबालिक से प्रतिमा को धुलवा कर उन पर माल्यार्पण कर क्षमा प्रार्थना की योजना है, लेकिन पुलिस की मुसीबत यही खत्म नहीं होती, क्योंकि एक और वीडियो सामने आया है। यह हरकत किसकी है यह पता लगाना होगा।
अब सवाल यह उठ रहा है कि यह सब कुछ क्या ऐसे ही हो रहा है ? क्या इसके पीछे कोई सोची समझी साजिश हैं ? बिलासपुर के नए एसपी संतोष कुमार सिंह ने निजात अभियान चलाकर शहर में नशा और नशे के कारोबार पर जबरदस्त प्रहार किया है। उनके आदेश से सभी थाना क्षेत्रों में रोज निजात अभियान के तहत कार्यवाही हो रही है, इसलिए पुलिस को चुनौती देने के मकसद से कुछ युवक शायद इस तरह की हरकत कर रहे हैं। बहुत मुमकिन है कि इनके पीछे कोई संगठित गिरोह मौजूद हो, इसलिए इन हरकतों को नजरअंदाज करने की बजाय गहराई से पड़ताल करने की आवश्यकता है ।

एसपी को सौंपा गया ज्ञापन


इस मामले में बंगाली समाज के अलावा अन्य राष्ट्रवादी संगठनों ने भी जबरदस्त विरोध दर्ज कराया है। बिलासपुर में सुभाष बाबू का अपमान हो गया और राजनीतिक दलों के जनप्रतिनिधि चुप्पी साधे बैठे हैं, यह बात भी सभी को खल रही है। सुभाष बाबू की विरासत को आगे बढ़ाने का दावा करने वालों का खून इन हरकतों से भी नहीं खौल रहा , जिससे उनकी निष्ठा और समर्पण पर सवाल उठने लगे हैं। साथ ही साथ यह मांग भी होने लगी है कि शहर के सभी महापुरुषों की प्रतिमा स्थल पर सीसीटीवी कैमरे लगे और सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम हो ताकि इस तरह कोई भी नशेड़ी बेरोकटोक उन तक ना पहुंच सके ,जिससे कि इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति ना हो। यह तो सुभाष बाबू थे इसलिए लोगों ने सिर्फ विरोध दर्ज कराया। कल्पना कीजिए कि अगर इसी तरह की हरकत किसी संवेदनशील प्रतिमा के साथ हुई होती तो अब तक यह शहर जल रहा होता, इसलिए समय रहते जागना होगा।

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