64 पूर्व सैनिकों के साथ उनके 200 से अधिक परिजनों ने किया भाजपा प्रवेश, कहा- भाजपा ही है एकमात्र राष्ट्रवादी पार्टी, जिसके साथ तन, मन, धन से करेंगे देश की सेवा

भाजपा की रीति-नीति और राष्ट्रवाद से प्रभावित होकर 15 जनवरी थल सेवा दिवस के अवसर पर छत्तीसगढ़ में रहने वाले करीब 64 पूर्व सैनिकों ने अपने परिजनों के साथ भाजपा में प्रवेश किया। करीब ढाई सौ लोगों ने भाजपा कार्यालय रायपुर में संगठन मंत्री पवन साय की उपस्थिति में भाजपा की प्राथमिक सदस्यता ग्रहण की। सिपाही संस्था के प्रमुख महेंद्र प्रताप सिंह राणा और अन्य भूतपूर्व सैनिकों ने बताया कि आमतौर पर सैनिकों पर सेकुलर होने का दबाव रहता है लेकिन एक सैनिक से बढ़कर सच्चा राष्ट्रवादी कोई हो ही नहीं हो सकता और पिछले कुछ वर्षों में बार-बार यह सिद्ध हुआ है कि देश में केवल भाजपा ही एकमात्र राष्ट्रवादी पार्टी है। राष्ट्रवाद से जुड़ने के इरादे से ही पूर्व सैनिकों और उनके परिजनों ने भाजपा की प्राथमिक सदस्यता ग्रहण की है। बड़ी संख्या में भाजपा कार्यालय कुशाभाऊ ठाकरे परिसर पहुंचे पूर्व सैनिकों और उनके परिजनों ने भविष्य में तन मन धन से देश सेवा का संकल्प लिया।

महेंद्र प्रताप सिंह राणा, अध्यक्ष “पूर्ण सैनिक महासभा”, प्रमुख “पूर्व सैनिक संगठन सिपाही” और एक आर्मी फउंडेसन अध्यक्ष दिनेश मिश्रा का कहना है कि पद पर रहते हुए सैनिक अपने कर्तव्यों से बंधा होता है लेकिन सेवानिवृत्ति के बाद उसकी भी अपनी व्यक्तिगत राजनीतिक सोच होती है और आमतौर पर पूर्व सैनिक भाजपा की विचारधारा से खुद को करीब पाता है। उनका कहना है कि अयोध्या में राम मंदिर निर्माण से पूरे देश में राम लहर है और पूरा देश प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में एक बार फिर भाजपा की सरकार बनाने को तैयार है।


साथ ही उन्होंने बताया कि आगामी 23 जनवरी से विवेकानंद विद्यापीठ में आयोजित पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के हनुमंत कथा के दौरान भी 26 जनवरी को 31 पूर्व सैनिक और उनके परिवार के सदस्यों एवं 10 पैरामिलिट्री के जवानों का सम्मान किया जाएगा।

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