पखांजूर से बिप्लब कुण्डू–
पखांजूर–
कापसी वनमंण्डल में नियम कानून को ताक में रखकर अतिरिक्त पैसा कमाने के फिराक में वन कर्मचारियों एवं अधिकारियों द्वारा क्षेत्र के आदिवासी समुदाय के गरीब मजदूरों को रोजगार देने के बजाये, मिट्टी कार्य मशीन के द्वारा कराया जा रहा है । ताकि समय से पहले निर्माण कार्य करा कर फर्जी मजदूरों का देयक भुगतान बनाकर भ्रष्टाचार को अंजाम देकर लाखो रुपयों का बंदरबांट किया जा सके । ज्ञात हो की कापसी वन परिक्षेत्र के तहत प्रतापपुर के मोहला एवं छीनटोला में लाखो रुपया की लागत से तालाब का निर्माण करवाया गया हैं जहा पर नियमो को ताक पे रखकर प्राकृतिक रुप से पोखर (गढ्ढा)की तरह बने हुये स्थलों में तालाब निर्माण किया गया है,कम लागत मे बना कर लाखों रुपए का आहरण करने की तैयारी की जा रही है। मामला यह ख़त्म नहीं होता कैंपा मद से बनाये गये तालाब को छीनटोला के ईसरु के पट्टे की {व्यक्तिगत} भूमि पर बनाकर बस अप्चारिकता का निर्वहन किया गया हैं।
कार्य स्थल पर निर्माण कार्य से संबधित सूचना बोर्ड , नहीं लगा है , न कार्य का नाम है ,न ही किस मद से स्वीकृत हुआ है , न ही स्वीकृत राशि से संबधित सूचना फलक है । तालाब निर्माण के नाम पर हरे पेडों की बलि दिया गया है जिसको आनन फानन में सफाई किया गया है । पेंडो की अवैध कटाई भी वन कर्मचारी के निर्देशन मे हुआ है । कापसी वन परिक्षेत्र वनो एंव वन्यजीवों के बचाव के लिए नहीं बल्कि वन अफसरों के एशोआराम के लिए है। इस वन परिक्षेत्र के बजट से अफसरों की जेब गर्म होती है। यहाँ भ्रष्टाचार चरमसीमा पर है । नाम न छापने के शर्यत पर विभागीया कर्हाँमचारी बजट का आधा हिस्सा उच्य अफसरों नेताओं तक पहुंचने की चर्चा वन विभाग के अधिकारी कर्मचारी स्वयं करते है। हकीकत आखिर क्या है यह तो कापसी वन विभाग के अधिकारी कर्मचारी ही जाने।
कापसी वन परिक्षेत्र के तहत तालाब निर्माण प्रतापपुर मोहला व् छीनटोला के स्थल में सिर्फ दो चार लोग ही नजर आये जो स्वयं को वन चौकीदार बता रहे थे । एक स्थानीय जेसीबी मशीन से काम चल रहा है । पूर्व से
प्रतापपुर के छीनटोला में तालाब निर्माण कार्य व्यक्तिगत पट्टे की भूमि पे निर्माण करवाकर अधिकारी अपना जेब भर रहे हैं जिससे लाखो रुपया से निर्मित तालाब निर्माण करवाने के उद्देश्य खली दिखावा साबित हो रहा हैं
इस संम्बध में डी.एफ.ओ. ससिगा नंदन पूर्व भा.पुर ने बतलाया निजी भूमि में तालाब निर्माण का प्रावधान तो नहीं हैं मैं इसकी पतासाजी करवाता हूँ मजदुर और मशीन दोनों कार्य कर सकते हैं