सी.एम. दुबे महाविद्यालय परिवार ने मनाया अपने संस्थापक स्व.पं. द्वारिका प्रसाद दुबे की स्मृति में ‘संस्थापक दिवस’

14 जनवरी 2024 को सी.एम. दुबे स्नातकोत्तर महाविद्यालय परिवार ने गरिमामय समारोह का आयोजन कर महाविद्यालय के संस्थापक स्व.पं. द्वारिका प्रसाद दुबे की स्मृति में उल्लासपूर्वक ‘संस्थापक दिवस’ मनाया। इस अवसर पर आयोजित समारोह में वक्ताअें ने सुप्रसिद्ध समाज सेवी स्व. पं. द्वारिका प्रसाद दुबे जी के व्यक्तित्व और कृतित्व के विभिन्न पहलुओं का उल्लेख अपने व्यकतव्यों में करते हुये उच्च शिक्षा के क्षेत्र में इस अंचल को दिये गये उनके योगदान का विशेष रूप से स्मरण किया। सी.एम. दुबे महाविद्यालय के शासी निकाय के अध्यक्ष माननीय डॉ. संजय दुबे जी इस अवसर पर दिये गये अपने व्यक्तव्य में कहा कि सन् 1956 में जब स्व. पं. द्वारिका प्रसाद दुबे जी ने सी.एम. दुबे महाविद्यालय की स्थापना की थी उस समय इस अंचल में उच्च शिक्षा की सुविधाओं का नितांत अभाव था। उन्होने इस अभाव की पूर्ति कर उच्च शिक्षा संबंधी सुविधाओं के विकास में स्वत्य योगदान दिया था। हम उनके द्वारा किये गये समाज सेवा संबंधी विविध कार्याे जैसे- अस्पताल, धर्मशाला और शिक्षा संस्थान की स्थापना से प्रेरणा लेकर निरंतर उनके सपनों को साकार करने का प्रयास तत्परता से करते रहते है। रोटरी क्लब के अध्यक्ष के रूप में कार्य करते हुये मैं स्वयं इस परंपरा से प्ररेणा और शक्ति प्राप्त करता रहता हू। हमारा लक्ष्य सदैव विद्यार्थियों को उच्च गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा प्रदान करना तथा शोध और अनुसंधान को बढावा देना रहा है। अनेक रोजगार उन्मुखी नये पाठ्यक्रम आरंभ कर हम विद्यार्थियों के भविष्य निर्माण में भी महत्वपूर्ण योगदान दे रहे है। ‘नैक’ ने हमारे महाविद्यालय को ‘बी प्लस’ ग्रेड प्रदान कर हमारे योगदान को स्वीकृति दी है।

पं. संजय दुबे ने कहा कि शासी निकाय के अधिकारियों और सदस्यों के निरंतर सहयोग के बिना महाविद्यालय को ऐसी उपलब्धियां प्राप्त होना संभव नही था। भाव विहल होकर अपने उद्बोधन में शासी निकाय के संरक्षक सदस्य पं. नारायण प्रसाद दुबे जी को भी इस अवसर पर दिये गये योगदान को स्मरण किया अपने परिवार के सभी सदस्यों को महाविद्यालय के निरंतर विकास के लिये संकल्प बद्ध हो कर कार्य करते रहने का संदेश दिया। उन्होने महाविद्यालय के संचालन तथा विकास कार्याे में उत्कृष्ट योगदान करने के लिये प्राचार्य डॉ. संजय सिंह को विशेष रूप से सम्मानित किया। शासी निकाय के सदस्य श्री एस.पी. चतुर्वेदी ने अपने उद्बोधन में महाविद्यालय के विकास के साथ-साथ अकादमिक शैक्षणिक, सांस्कृतिक, खेल-कूद, राष्ट्रीय केडट कोर, राष्ट्रीय सेवा योजना से संबंधित क्रिया कलापों का उल्लेख करते हुये प्रशंसा की। सी.एम. दुबे महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ.संजय सिंह ने स्व.पं. द्वारिका प्रसाद दुबे जी के समाज सेवी संबंधी योगदानों को रेखांकित करते हुये सभी अभ्यागतों के प्रति हार्दिक आभार ज्ञापित किया।

इस अवसर पर शिक्षण समिति के सदस्य पं. महेश दुबे, श्री सत्य प्रकाश चतुर्वेदी, कमल दुबे, श्रीमती अंजली चतुर्वेदी, श्रीमती द्धजा दुबे, श्रीमती पूनम मिश्रा, श्री सचिन दुबे, श्री विमल त्रिपाठी, श्री एन.के. वर्मा, नितिन त्रिपाठी, अमित तिवारी आदि पदाधिकारी एवं सदस्यगण इस अवसर पर उपस्थित रहे।
कार्यक्रम के आरंभ में महाविद्यालय परिवार के सभी सदस्यों, शासी निकाय के पदाधिकारियों, प्राचार्य, उपप्राचार्य, विभागाध्यक्षों, प्राध्यापकों, कर्मचारियों तथा विद्यार्थियों ने महाविद्यालय परिसर में स्थापित स्व. पं. द्वारिका प्रसाद दुबे जी की प्रतिमा पर माल्यापर्ण कर उनके प्रति सम्मान और कृतज्ञता व्यक्त की।
इस अवसर पर आयोजित समारोह का कुशल संचालन डॉ. श्रीमती अल्का पंत ने किया। उन्होने स्व. पं. द्वारिका प्रसाद दुबे जी के प्रेरक जीवन का परिचय देते हुये महाविद्यालय की लंबी विकास यात्रा पर विस्तृत प्रकाश डाला।
श्रीमती सुमेला चटर्जी के संगीत निदेशन में महाविद्यालय के विद्यार्थियों ने सुमधुर भजनों और स्वागतगान का गायन किया। शासी निकाय के अध्यक्ष डॉ. संजय दुबे जी तथा उपाध्यक्ष महेश दुबे जी, कमल दुबे, सचिन दुबे ने कर्ण प्रिय संगीत प्रस्तुत करने वाले इन सभी विद्यार्थियों को नगद पुरस्कार प्रदान किया।
महाविद्यालय की राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई को राष्ट्रीय इंदिरा गांधी अवार्ड से छात्रा कु. अलिसा अंसारी को राष्टपति भवन में सम्मानित किया गया तथा श्रेष्ठ स्वयंसेवक रूप में छत्तीसगढ़ का अवार्ड भी इन्हे प्राप्त होने पर महाविद्यालय का गौरव प्रदेश एवं देश में बढ़ा। महाविद्यालय की छात्रा सुश्री अलिसा अंसारी को इस अवसर पर विशेष रूप से स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया।
संस्थापक दिवस समरोह के इस आयोजन को सफल बनाने में डॉ. कमलेश जैन, डॉ.पी.एल. चदं्राकर, श्री कौशल गुप्ता, श्री के.एस. राजपूत, श्री रोहित लहरे, श्री प्रवीण गुप्ता तथा राष्ट्रीय सेवा योजना के स्वयं सेवकों तथा एन.सी.सी. के कैडेटों का विशेष योगदान रहा। संस्थापक दिवस के अवसर पर इस महाविद्यालय के बी.एड. एवं संगीत विभाग के प्रज्ञा अवस्थी, प्रिया राठौर, त्रिप्ती साहू, रजत, कोमल, प्रभा, नितू, अलिना, मुक्ति सिंह, प्रतिभा राठौर, संजना राजपूत, अक्षय त्रिपाठी ने सुमधुर गायन प्रस्तुत किया तथा श्री रूपेश मेश्राम, शिवा नायडू तथा दिलीप विश्वास ने वाधयंत्रो का वादन किया।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!