
योग को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पहचान दिलाने के लिए वर्ष 2014 में अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाने का निर्णय लिया गया इसके बाद से हर वर्ष 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस मनाया जाने लगा इसी कड़ी में आठवे अंतर्राष्ट्रीय योग दिवस का आयोजन किया गया अटल बिहारी वाजपेई विश्वविद्यालय के सभागार में भी 8 से अंतरराष्ट्रीय योग दिवस का आयोजन हुआ जिसमें विश्वविद्यालय के कुलपति के साथ-साथ आए मुख्य अतिथियों के द्वारा उपस्थित विद्यार्थियों के साथ विश्वविद्यालय के अधिकारी कर्मचारियों को योग से जोड़ा गया इससे पहले विश्वविद्यालय प्रांगण से रन फॉर योगा का भी आयोजन हुआ जिसे कुलपति आचार्य दिवाकर नाथ वाजपेई ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया

इस मौके पर एनएसएस और योग डिपार्टमेंट के विद्यार्थियों के द्वारा लगभग आधा किलो मीटर के रन फॉर योगा कार्यक्रम का आयोजन हुआ जो विश्वविद्यालय प्रांगण से शुरू होकर वापस विश्वविद्यालय प्रांगण पहुंचकर समाप्त हुई इसके बाद विश्वविद्यालय के सभागार में योगाभ्यास शिविर की शुरुआत हुई जिसमें विश्वविद्यालय के कुलपति और मुख्य अतिथियों के द्वारा उपस्थित सभी लोगों को योग की बारीकियों से अवगत कराने के साथ उन्हें योगाभ्यास कार्यक्रम से जोड़ा गया इस दौरान उन्हें विभिन्न आसन के साथ-साथ योग के महत्व को भी बताया गया

जहां उन्होंने कहा कि योग स्वस्थ जीवन के लिए तो महत्वपूर्ण है ही साथ ही यहां आपको रोगों से भी दूर करता है अगर रोजाना इसे दैनिक कार्यों के रूप में लिया जाएगा तो आप निरोग हो सकते हैं लेकिन इसके लिए जरूरी है कि इसके लिए आप में दृढ़ निश्चय हो और योग के प्रति गंभीरता हो केवल 1 दिन के योग से कुछ नहीं होगा बल्कि आपको निरंतर इससे जुड़ना होगा इसके फायदे भी हैं और यह आपको आयु में भी बढ़ोतरी में मदद करती है यही वजह है कि अब विश्व भर में योग को बढ़ावा दिया जा रहा है और लोग इससे जुड़ भी रहे हैं।
